Tuesday, November 5, 2024
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अचार स‍ंहिता हटने के बाद होगी किसानों की ईकेवायसी, कैशलेस सिस्‍टम प्रणाली से युक्‍त होगी जिले की एक मंडी

कृषि उत्पादन आयुक्त एस.एन. मिश्रा की अध्यक्षता में आज जबलपुर में संभाग स्तरीय एपीसी की बैठक होटल कल्‍चुरी में आयोजित की गई। जिसमें जबलपुर संभाग के सभी जिलों के रबी 2023-24 की समीक्षा एवं खरीफ 2024 की तैयारियों पर चर्चा कर आवश्यक निर्देश दिए गए। इस दौरान एसीएस कृषि अशोक वर्णवाल, संभागीय आयुक्त अभय वर्मा, डायरेक्टर हॉर्टिकल्टर सहित संभाग के सभी जिलों के कलेक्टर व संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।

बैठक में मुख्‍य रूप से कहा गया कि कम समयावधि में तैयार होने वाले बीजो की बोनी को प्रोत्‍साहित किया जाये। जिससे किसानों को अगली फसल के लिये पर्याप्‍त समय भी मिलने के साथ रकबा भी बढ़ेगा। बैठक में उवर्रकों की मांग व उपलब्‍धता की समीक्षा के साथ अन्‍य सूक्ष्‍म सहयोगी खादों के उपयोग के बारे में कहा गया। मृदा परीक्षण को लेकर कहा गया कि जहां-जहां मृदा परीक्षण केन्‍द्र है उन्‍हें सक्रिय करें और मृदा के आधार पर खाद-बीज का उपयोग करें।

बैठक में सूक्ष्‍म सिंचाई परियोजनाओं पर जोर देकर इन्‍हें प्रभावी बनाने पर जोर दिया ताकि समय पर फसलों को पानी उपलब्‍ध हो सके। आधुनिक कृषि में आधुनिक खाद-बीज के साथ आधुनिक कृषि यंत्रों के उपयोग पर जोर दिया और कहा गया कि उबर जैसे किसान एप को ज्‍यादातर किसानों तक पहुंचाये जिससे किसान व सर्विस प्रोवाईडर उसमें अपना रजिस्‍ट्रेशन करा सके। कृषि उपकरणों की ज्‍यादातर मांग एक समय विशेष पर होती है और ऐसी स्थिति में सर्विस प्रोवाईडर को आधुनिक उपकरण सुनिश्चित कराने में सहूलियत होती है।

बैठक में कहा गया कि कृषि के लिये किये जा रहे अच्‍छे नवाचारों को बढ़ावा दें और उनका डॉक्‍यूमेंटेशन भी करें। फसल बीमा में ऋणी किसानों के साथ अऋणी किसानों को भी जोड़े। इसे प्राथमिकता में लेकर कार्य करें। एफपीओ से संपर्क बनाये, मंडी को हाईटेक करें, जिससे ट्रांजेक्‍शन टाइम कम हो, ऑटो पेकेजिंग आदि हो, कैशलेस सिस्‍टम अपनाये, हर जिले में एक मंडी को कैशलेस सिस्‍टम प्रणाली से युक्‍त करें।

इसके साथ ही कहा गया कि किसानों के जमीनों के रजिस्‍ट्री के साथ फसल और किसानों की रजिस्‍ट्री भी हो। जिससे किसी प्रकार की व्‍याधि होने पर उनकी सहायता की जा सके। किसानों के केसीसी करायें, विशेष रूप से अचार स‍ंहिता के बाद पीएम किसान का ईकेवायसी करायें जिससे किसानों को भविष्‍य में लाभ हो सके।

एपीसी की बैठक में ई-रूपी, मिलेट मिशन, बीसा प्रोजेक्‍ट द्वारा किये जा रहे नवाचारों का मिश्रण कर सुपर सीडर, हैप्‍पी सीडर और पेडी ट्रांसप्‍लांटर जैसे उपकरणों के प्रयोग पर बल दिया जाये और नरवाई का बेहतर प्रबंधन करें। उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्‍करण विभाग की समीक्षा के दौरान उद्यानिकी फसलों का रकबा एवं उत्‍पादन में जबलपुर संभाग की हिस्‍सेदारी, फल, सब्‍जी, मसाला, पुष्‍प क्षेत्र का विस्‍तार पर विस्‍तार से चर्चा कर कहा गया कि पर ड्राप मोर क्रॉप की पद्धति को अपनाये, मल्चिंग को प्रोत्‍साहित करें।

प्रधानमंत्री सूक्ष्‍म खाद्य उन्‍नयन योजना को प्रभावी बनाये तथा उद्यानिकी के नई चुनौतियों को स्‍वीकारें और नवाचार से उनका समाधान करें। इस दौरान उद्यानिकी क्षेत्र में किये गये विशिष्‍ट कार्यों की समीक्षा भी की गई। एपीसी की बैठक के द्वितीय सत्र में संभाग में पशुपालन एवं डेयरी की वर्तमान परिदृष्‍य पर विस्‍तृत समीक्षा की गई।

पशुपालन व डेयरी की समीक्षा में कहा कि पशुओं की चिकित्‍सा समय पर सुनिश्चित हो जायें, घर पहुंच सुविधाएं सुलभ हो, केसीसी कार्ड बन जायें और एनएलएम की गतिविधियों को प्रभावी करें जिसमें कुक्‍कुट, सूकर, बकरी पालन प्रभावी रूप से हो, साथ ही उनकी आहार की व्‍यवस्‍था समुचित रूप से हो।

विभागीय योजनाओं की प्रगति के साथ पशु उपचार व टीकाकरण, गौशालाओं के निर्माण, कृत्रिम गर्भाधान, पशुधन बीमा योजना, सेक्‍सड सोर्टेड सीमन संबंधी विभिन्‍न मुद्दों पर विस्‍तार से चर्चा कर कहा कि पशुधन को बढ़ाने के लिये प्रत्‍येक ग्राम पंचायत में मैत्री की स्‍थापना की जाये और दुग्‍ध उत्‍पादन को बढ़ावा दिया जाये। इसके साथ ही मत्‍स्‍य पालन को बढ़ावा देने की गतिविधियों पर जोर दिया गया।

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