केन्द्र सरकार द्वारा गत वर्ष देश में चलाये गये ईट राइट चैलेंज का परिणाम आज प्रकाशित हुआ। प्रतियोगिता में शामिल 260 जिलों में भोपाल को द्वितीय स्थान प्राप्त हुआ है। साथ ही ग्वालियर पाँचवें तथा उज्जैन आठवें स्थान पर है। सूची के प्रथम 50 जिलों में मध्यप्रदेश के 10 जिले शामिल हैं। आगामी 7 जून को केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री द्वारा प्रतियोगिता के अग्रणी जिलों के नोडल अधिकारियों को पुरस्कृत किया जायेगा।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इस उपलब्धि पर बधाई दी है। उन्होंने कहा है कि “मिलावट से मुक्ति” अभियान से प्रदेश में अधिक संख्या में नमूना संग्रहण, खाद्य अनुज्ञप्ति की संख्या में वृद्धि के लिये शिविर लगाना, खाद्य सुरक्षा के लिये जागरूकता अभियान जैसे कार्य निरंतर किये जा रहे हैं, जिसके परिणामस्वरूप ईट राइट चैलेंज प्रतियोगिता में जिलों ने सराहनीय उपलब्धि प्राप्त की है। लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी ने भी प्रतियोगिता में मिली उपलब्धि पर बधाई दी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सभी प्रतियोगी जिलों द्वारा सराहनीय कार्य कर खाद्य सुरक्षा के क्षेत्र में प्रदेश को गौरवान्वित किया है।
आमजन के खान-पान की आदतों में सकारात्मक बदलाव तथा खाद्य प्रतिष्ठानों में आत्म-अनुपालन की प्रवृत्ति को बढ़ावा देने के उद्देश्य से एक मई 2022 से 15 नवम्बर 2022 तक चलाये गये देशव्यापी ईट राइट चैलेंट की विभिन्न गतिविधियों का संचालन किया गया। प्रतियोगिता में अनुज्ञप्ति/पंजीयन की संख्या बढ़ाना, नमूना संग्रहण, मिलेट रेसिपी एवं फोर्टिफिकेशन प्रदर्शन, ईट राइट केम्पस/स्टेशन प्रमाणन, भोग प्रमाणन, हाईजीन रेटिंग एवं नवाचारी गतिविधियों को पृथक-पृथक अंक प्रदान किये गये।
चैलेंज के अंतर्गत कलेक्टर भोपाल द्वारा प्रारंभ किये गये “न्यूज पेपर में दे खाना, तो बोलो ना-ना”, उज्जैन जिले के “दोने में दो ना” जैसे नवाचारों को भारतीय खाद्य संरक्षा और मानक प्राधिकरण नई दिल्ली द्वारा सराहा गया। इस दौरान देश में प्रथम ईट राइट मिलेट मेला भी भोपाल में किया गया। अंतर्राष्ट्रीय मिलेट (श्री अन्न) वर्ष के दौरान प्रदेश में अनेक स्थानों पर मिलेट मेले लगाये जा रहे हैं।