मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी के प्रबंध संचालक इंजी. सुनील तिवारी ने कहा है कि वर्तमान में ऊर्जा के दक्षतापूर्ण उपयोग की आवश्यकता भारत ही नहीं बल्कि विश्व के सामने भी एक चुनौती है, क्योंकि बिजली सहित विभिन्न ऊर्जाओं की जरूरतें जीवाश्म ईधन से उत्पन्न ऊर्जा से होती है जिसके क्षरण से हमारे वातावरण का तापमान तेजी से परिवर्तित हो रहा है।
मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी के कार्मिकों से ऊर्जा सरंक्षण दिवस पर प्रबंध संचालक इंजी. सुनील तिवारी ने ऊर्जा सरंक्षण के लिए पूरी प्रतिबद्धता के साथ काम करने का आव्हान किया। शक्ति भवन में आयोजित इस कार्यक्रम में ट्रांसकों कार्मिकों को दिये अपने संदेश में इंजी. सुनील तिवारी ने कहा कि एक यूनिट बिजली भी बचाई जाती है तो यह न केवल राष्ट्र अपितु विश्व कल्याण में भी सहयोग होगा।
प्रबंध संचालक इंजी. सुनील तिवारी ने कहा कि मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी भी अपनी तरफ से वैश्विक जरूरतों को ध्यान में रखकर वैकल्पिक ऊर्जा के स्त्रोतों के उपयोग को बढ़ावा दे रहा है। कंपनी के सब-स्टेशनों में सौर ऊर्जा के प्लांट लगाये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि मप्र ट्रांसकों ने केन्द्र की महत्वकांक्षी परियोजना ग्रीन एनर्जी कॉरिडोर का कार्य समय के पहले पूरा कर दिखाया साथ ही ओंकारेश्वर फ्लोटिंग परियोजना के लिए आवश्यक इन्फ्रास्ट्रक्चर हेतु कन्सलटेंसी प्रदान की जा रही है, ताकि वर्ष 2027 तक ‘नेट जीरो’ कार्बन उत्सर्जन के लक्ष्य को प्राप्त कर पर्यावरण को बचाने में सहयोग किया जा सकें।
उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी द्वारा ऊर्जा संरक्षण के महत्वपूर्ण आयाम हासिल किये गए हैं, जिसमें पारेषण हानि को मात्र 2.63 प्रतिशत रखने में सफलता मिली है। उन्होंने कहा कि सब-स्टेशनों के पैनल एवं यार्ड में एलईडी लाइट का उपयोग कर विद्युत बचत की गई है।
उन्होंने कहा कि ऊर्जा संरक्षण एक सचेत व्यक्तिगत प्रयास है जो बृहद स्तर पर ऊर्जा दक्षता की ओर ले जाता है, अतः मध्यप्रदेश में कंपनी के सभी कार्यालय प्रभारी अपने अपने कार्यालय में बिजली खपत पर सतत् निगरानी रख न्यूनतम खपत सुनिश्चित करें। इस अवसर पर मध्यप्रदेश पावर ट्रांसमिशन कंपनी के सभी विभागाध्यक्ष और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे, जिन्होंने ऊर्जा संरक्षण की शपथ ली।