प्रेम पताका: जसवीर त्यागी

काम पर जाते हुए
मैंने उसे देखकर हाथ हिलाया

उसने भी 
हर्ष की हरियाली बिखेरते हुए
हवाओं में
संजीदगी से उसे साझा किया

और हिलता हुआ उसका हाथ
मुझे बहुत प्रेरक लगा
हाथ हिलाना
सिर्फ एक शारीरिक क्रिया नहीं है

नेह के नयनों से देखिए
आत्मीयता के आसमान में
लहराती हुई कोई प्रेम-पताका है

जसवीर त्यागी