महत्वपूर्ण विभागों में बंद हो प्रभारी व्यवस्था, जबलपुर में पदस्थ किया जाए पूर्णकालिक डीईओ

मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ ने जारी विज्ञप्ति में बताया कि जबलपुर जिले में विगत कई वर्षों से शिक्षा विभाग में प्रभारी डीईओ द्वारा कार्य किया जा रहा है, जिससे शिक्षा विभाग में अराजकता और भ्रष्टाचार का बोलबाला है। प्रभारी डीईओ कि तानाशाही के चलते विभाग में शिक्षक संवर्ग की सेवापुस्तिकाओं का संधारण नहीं हो रहा है और अनेकों पेंशन प्रकरण लंबित पड़े हुए हैं।

शिक्षा विभाग में अनुकम्पा नियुक्ति के प्रकरण कई वर्षों से लंबित है, अनुकम्पा नियुक्ति के प्रकरणों में किसी भी प्रकार से नियम का पालन नहीं किया जा रहा है, अनुकम्पा नियुक्ति के प्रकरण वर्षों से लंबित होने के कारण दिवंगत कर्मचारियों के परिवारजनों को मानसिक एवं आर्थिक रूप से अत्यधिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। शिक्षक संवर्ग में प्रभारी डीईओ की कार्यप्रणाली से अत्यधिक रोष व्याप्त है।

संघ के योगेन्द्र दुबे, अर्वेन्द्र सिंह राजपूत, अवधेश तिवारी, अटल उपाध्याय, आलोक अग्निहोत्री, ब्रजेश मिश्रा, वीरेन्द्र चंदेल, एसपी बाथरे, चूरामन गुजर, अमित पटेल, परसुराम तिवारी, निशांक तिवारी, अनिल दुबे, अमित गौतम, रामकृष्ण तिवारी, रितुराज गुप्ता, संदीप चौबे, गणेश शुक्ला, तुषरेन्द्र सेंगर, नीरज कौरव, सतीश देशमुख, पंकज जायसवाल, योगेश कपूर, रमेश काम्बले, टोनी एम्ब्रोस, नवीन यादव, अशोक मेहरा, शैलेन्द्र दुबे, इंद्रजीत मिश्रा आदि ने मुख्यमंत्री एवं शिक्षा मंत्री से मांग की है कि जबलपुर जिले के शिक्षा विभाग मे शीघ्र पूर्णकालिक डीईओ की पदस्थापना की जाये।