अपना घर-अपनी बिजली: MPPKVVCL के 3600 उपभोक्ता घर में कर रहे बिजली का उत्पादन

बिजली उपभोक्ताओं में इन दिनों सौर ऊर्जा से अपना घर रोशन करने का प्रचलन तेजी से बढ रहा है। इसका मुख्य कारण है सस्ती और निर्बाध बिजली मिलना तथा केन्द्र सरकार की सोलर रूफटॉप योजना के तहत सोलर संयंत्र लगवाने पर 20 से 40 प्रतिशत तक सब्सिडी राशि मिलना। संयंत्र की स्थापना कर उपभोक्तागण प्रति माह प्रति किलोवाट 120 यूनिट का उत्पादन कर 700 से 800 रूपए तक की बिजली की बचत कर सकते हैं । 

योजना के अंतर्गत 3600 निम्न दाब श्रेणी के उपभोक्ताओं द्वारा 28.2 मेगावॉट तथा 170 उच्च दाब उपभोक्ताओं द्वारा 26.4 मेगावॉट क्षमता के सोलर रूफटॉप संयंत्र की स्थापना कराई जा चुकी है। इन उपभोक्ताओं ने सौर ऊर्जा से अपने परिसर में बिजली का उत्पादन कर स्वयं की बिजली संबंधी आवश्यकताओं को पूरा कर लिया है, साथ ही स्थापित संयंत्र से उत्पादित अतिरिक्त बिजली कंपनी को बेच भी रहे हैं।

पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी क्षेत्र में शासकीय भवनों, दुकानों, कार्यालयों, स्कूलों, कालेजों, अस्पतालों तथा रहवासी घरों की छतों पर सोलर पेनल बखूबी कार्य कर रहे हैं। सोलर संयंत्र की स्थापना से उपभोक्ताओं के बिजली बिल की राशि में कमी आ रही है, ग्रीन इनर्जी को बढावा मिल रहा है साथ ही कार्बन के उत्सर्जन में भी कमी आ रही है। सोलर संयंत्र लगवाने के लिए कंपनी क्षेत्र के 1151 घरेलू बिजली उपभोक्ताओं द्वारा नेशनल पोर्टल पर पंजीकरण किया जा चुका है। 

भारत सरकार के नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय द्वारा घरों की छतों पर सोलर पेनल लगाकर अपनी बिजली बनाने के लिए सोलर रूफटॉप योजना के दूसरे चरण में पहले 3 किलोवाट तक 40 प्रतिशत तथा 3 से 10 किलोवाट तक का संयंत्र लगाने पर 20 प्रतिशत की सब्सिडी राशि प्रदान की जा रही है। यह योजना पूर्व क्षेत्र कंपनी के क्षेत्र जबलपुर, सागर, रीवा एवं शहडोल संभागों में भी लागू है। 

सोलर रूफटाप संयंत्र स्थापित हो जाने पर ऊर्जा मंत्रालय द्वारा दी जाने वाली सब्सिडी की राशि आवेदनकर्ता के बैंक खाते में सीधे स्थानांतरित की जाती है। कंपनी में रजिस्टर्ड ठेकेदार के माध्यम से लगाए जाने वाले सोलर पेनल एवं अन्य उपकरण मंत्रालय के मानकों के अनुसार रहते हैं तथा संयंत्र का पांच वर्ष तक मेंटनेंस करने की गारंटी भी दी जाती है। नेट मीटर एवं जनरेशन मीटर की कीमत संबंधित उपभोक्ता द्वारा वहन की जाती है। सोलर रूफटाप संयंत्र की लागत की गणना पूर्व क्षेत्र कंपनी के पोर्टल https://www.mpez.co.in पर उपलब्ध सोलर रूफटाप कैलकुलेटर के माध्यम से भी की जा सकती है।

योजना के अंतर्गत एक से तीन किलोेवाट तक का संयंत्र स्थापित करने पर प्रति किलोवाट पर 14 हजार 588 रूपए की अनुदान राशि तथा चार से दस किलोवाट तक के संयंत्र पर प्रति किलोवाट 7 हजार 294 रूपए अनुदान राशि प्रदान की जा रही है। दस किलोवाट से अधिक के संयंत्र पर कुल 94 हजार 822 रूपए अनुदान राशि का प्रावधान है।

कंपनी क्षेत्र के सोलर रूफटाप संयंत्र के इच्छुक बिजली उपभोक्ता https://solar rooftop.gov.in  के माध्यम से आंनलाइन आवेदन कर सकते हैं। आवेदन के साथ उपभोक्ता का आधार कार्ड एवं फोटो अपलोड की जाती है। बिजली कंपनी से अनुमोदन मिलते ही कंपनी में रजिस्टर्ड ठेकेदार से संयंत्र लगवा सकते हैं। संयंत्र की स्थापना के बाद कंपनी द्वारा लगाए गए नेट मीटर का सर्टिफिकेट एवं निरस्त चैक की प्रति अपलोड करने पर सब्सिडी की राशि सीधे उपभोक्ता के बैंक खाते में ट्रांसफर की जाती है।