मध्यप्रदेश खाद्य नागरिक आपूर्ति निगम के द्वारा किये गए नवाचारों से निगम को 422 करोड़ 79 लाख रूपये की बचत हुई है। वित्तीय वर्ष की समाप्ति तक यह बचत 500 करोड़ रूपये तक होने की पूरी संभावना है। खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री गोविन्द सिंह राजपूत ने निगम द्वारा किये गए नवाचारों की सराहना की है।
निगम के प्रबंध संचालक पीएन यादव ने बताया है कि उपार्जित धान को उपार्जन केन्द्रों से सीधे मिलर्स को देने पर परिवहन व्यय में 49 करोड़ 66 लाख, भंडारण व्यय में 82 करोड़ 53 लाख और गत वर्ष की तुलना में शीघ्र मिलिंग कराये जाने से व्यय एवं भंडारण व्यय में 16 करोड़ रूपये की बचत हुई है।
इसी तरह पीडीएस की आवश्यकतानुसार प्रत्येक जिले में गेहूँ का स्टॉक आारक्षित करने पर पीडीएस मात्रा के गेहूँ लाने-ले जाने में 20 करोड़ और अन्य कल्याणकारी योजनाओं में अंतर जिला परिवहन की मात्रा कम होने से 60 करोड़ रूपये की बचत हुई है।
विगत 5 वर्षों के क्षतिग्रस्त स्टॉक (स्कंध) के त्वरित निराकरण करने पर 110 करोड़ रूपये की बचत हुई। शेडयूल ऑफ रेट्स परिवहन व्यवस्था का क्रियान्वयन करने से न्यूनतम दूरी न्यूनतम व्यय के आधार पर अंतर जिला परिवहन से 5 करोड़ 28 लाख और लम्बी दूरी का परिवहन एसओआर दरों पर करने से 79 करोड़ 25 लाख रूपये की बचत हुई है।