उज्जैन (हि.स.)। धर्मनगरी उज्जैन स्थित विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग भगवान महाकालेश्वर के मंदिर में होली की पूर्व संध्या पर जमकर रंग-गुलाल उड़े। पंडे-पुजारियों और श्रद्धालुओं ने भगवान महाकाल के संग फूलों की होली भी खेली। एक-दूसरे को रंग लगाया और होली पर्व की बधाई दी। साथ ही देशभर में होली के उत्सव की भी शुरुआत हो गई।
भारत में हिन्दुओं के सभी त्यौहारों की शुरुआत महाकाल के दरबार से होती है। यहां होलिका दहन का विशेष महत्व है। महाकालेश्वर मंदिर में होली की पूर्व संध्या पर रविवार शाम साढ़े सात बजे भगवान महा काल की संध्या आरती हुई, जिसमें श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। इस दौरान जमकर रंग-गुलाल उड़ा। संध्या आरती के बाद महाकाल मंदिर परिसर में होलिका दहन किया गया।
मंदिर के पुजारी महेश गुरु ने बताया कि देश में सबसे पहले होलिका दहन भगवान महाकाल के आंगन में होता है। यहां संध्या आरती के बाद ओंकारेश्वर मंदिर के सामने होलिका बनाई गई। इसके बाद विधि-विधान से होलिका का पूजन किया गया और फिर गोधूलि बेला में प्रदोष काल में होलिका दहन हुआ। इस अवसर पर हजारों भक्त रंग और गुलाल में सराबोर नजर आए। होलिका दहन के बाद मंदिर परिसर में ही भजन संध्या का आयोजन हुआ।