मध्य प्रदेश पिछड़ा वर्ग अधिकारी एवं कर्मचारी संघ के जिला अध्यक्ष संजय यादव ने जारी विज्ञप्ति में बताया कि संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण जबलपुर के पद पर पदस्थ प्रभारी संयुक्त संचालक द्वारा अनेक अनियमितताएं की जा रही हैं। जिसके कारण संभाग ही नहीं प्रदेश में शिक्षा विभाग का नाम धूमिल हो रहा है।
उन्होंने बताया कि शासन द्वारा हाई एवं हायर सेकेंडरी एवं सीबीएसई स्कूलों की मान्यता के अधिकार संयुक्त संचालक को दिए गए हैं। जेडीई द्वारा संभाग के जिला शिक्षा अधिकारियों से प्राप्त नस्तियों में जिला स्तर की समिति द्वारा मान्य अथवा अमान्य पर विचार किए बिना ही जिन संस्थाओं से सेटिंग हो जाती है, उनकी मान्यता जारी कर दी जाती है और जिन से मान्यता की सेटिंग नहीं हो पाती, उनकी मान्यता अमान्य कर दी जाती है व बाद में उच्च कार्यालय से मान्यता के नाम पर और अधिक पैसे की वसूली की जाती रही है।
इसके अलावा संभागीय स्तर का कार्यालय होने के कारण जिलों में घूम-घूम कर शिक्षक व कर्मचारियों को डराया जा रहा है। पूर्व से निलंबित शिक्षकों को बहाल करना एवं विभागीय जांच को अपने स्तर से व उच्च स्तर से निपटवाने के लिए बकायदा पैसे की मांग की जाती रही है व नियम विरुद्ध उनके प्रकरणों को भी निपटाया गया है।
उन्होंने बताया कि शासन द्वारा दुखी परिवार को सहायता देने के लिए अनुकंपा नियुक्ति दिए जाने के निर्देश हैं, परंतु जेडीई द्वारा संभाग में घूम-घूम कर अनुकंपा नियुक्ति की सेटिंग की जाती है व बिना रोस्टर व पद के नियुक्ति आदेश जारी किए गए हैं। जिसके कारण वरिष्ठता का पालन भी नहीं किया गया है। बाद वाले प्रकरणों को, जिनमें पैसा मिला उनमें नियुक्ति प्रदान की गई व पूर्व के प्रकरण वाले ऑफिस के चक्कर काट रहे हैं।
शिक्षकों के संभाग स्तर के प्रशिक्षण में उनके रुकने खाने सामग्री वितरण व प्राइवेट वाहन के नाम पर जमकर शासन के पैसे का दुरुपयोग किया गया। उक्त प्रशिक्षण में नियम विरुद्ध काम करते हुए भारी अनियमितता कर अपनी जेबें भरी गई है।
जेडीई ने अपने कार्यकाल में नेशनल स्तर पर खेलकूद के आयोजन में भी नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए विभिन्न कार्यों के लिए जिन से सेटिंग हुई उनको काम देकर अपनी जेब भरने का काम किया है। नियम विरुद्ध वाहन व्यवस्था, होटल व गाड़ी के फर्जी बिल लगाए गए हैं। सभी कामों के लिए इनके द्वारा पहले पैसे की मांग की गई उनके बाद काम दिया गया।
संघ के संजय यादव, डी.डी. गुप्ता, बी.सी. नामदेव, ज्ञानचंद रजक, घनश्याम पटेल, आर.के. गुलाटी, अनिल सोंधिया, राजेश सेन आदि ने जेडीई के संपूर्ण कार्यकाल की उच्च स्तरीय सूक्ष्म व गहन जांच कराए जाने की मांग प्रदेश के मुख्यमंत्री से की है।