मध्य प्रदेश के संस्कृति विभाग ने वर्ष 2021 के राज्य शिखर सम्मानों की घोषणा कर दी गई है। इसमें राष्ट्रीय एवं राज्य शिखर सम्मान दिये जायेंगे। संचालक संस्कृति अदिति कुमार त्रिपाठी ने बताया कि संस्कृति विभाग द्वारा प्रति वर्ष कला, संस्कृति, साहित्य, संगीत की विभिन्न विधाओं में राष्ट्रीय एवं राज्य स्तर पर सम्मान प्रदान किया जाता है। विभाग द्वारा इन राष्ट्रीय एवं राज्य सम्मानों से मध्यप्रदेश की सांस्कृतिक पहचान को राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिष्ठापित किया गया है।
राज्य शिखर सम्मान
हिन्दी साहित्य के लिए इंदौर के डॉ अश्विनी कुमार दुबे को, उर्दू साहित्य के लिए इंदौर के डॉ नरेन्द्र वीरमणि को, संस्कृत साहित्य के लिए उज्जैन के भगवतीलाल राजपुरोहित को, शास्त्रीय संगीत के लिए उज्जैन के पं. श्रीधर व्यास को, शास्त्रीय नृत्य के लिए भोपाल की डॉ विजया शर्मा को, रूपंकर कलाएँ के लिए भोपाल के अनिल कुमार को, नाटक के लिए भोपाल के प्रशांत खिरवड़कर को, दुर्लभ वाद्य वादन के लिए भोपाल के मुन्ने खाँ को और जनजातीय एवं लोक कलाएँ के लिए डिंडोरी की श्रीमती सावनी बाई को राज्य सरकार सम्मान दिया जायेगा। इन सभी कलाकार एवं साहित्यकारों को सम्मान स्वरूप एक-एक लाख रूपये की सम्मान राशि, सम्मान पट्टिका एवं शॉल-श्रीफल प्रदान किया जाता है।
राष्ट्रीय सम्मान
राष्ट्रीय कबीर सम्मान हटा के डॉ श्याम सुंदर दुबे को (3 लाख रूपये), राष्ट्रीय मैथिलीशरण गुप्त सम्मान गोरखपुर के सदानन्द गुप्त को (2 लाख रूपये), राष्ट्रीय इकबाल सम्मान हैदराबाद के डॉ सैयद तक़ी आब्दी को (2 लाख रूपये), राष्ट्रीय शरद जोशी सम्मान खंडवा के डॉ श्रीराम परिहार को (2 लाख रूपये), राष्ट्रीय नानाजी देशमुख सम्मान डिंडोरी के जनजाति कल्याण केन्द्र महाकोशल को (2 लाख रूपये), राष्ट्रीय कुमार गंधर्व सम्मान हैदराबाद की सुश्री रुक्मिणी विजय कुमार को (1.25 लाख रूपये), राष्ट्रीय सूचना प्रौद्योगिकी सम्मान भोपाल के रविशंकर श्रीवास्तव को (1 लाख रूपये), राष्ट्रीय निर्मल वर्मा सम्मान लंदन की सुश्री शिखा वार्ष्णेय को (1 लाख रूपये), राष्ट्रीय फादर कामिल बुल्के सम्मान डेनमार्क के डॉ हाइंस वेर्नर वेसलर को (1 लाख रूपये), राष्ट्रीय गुणाकर मुले सम्मान कोल्हापुर के जयंत विष्णु नार्लीकर को (1 लाख रूपये) और राष्ट्रीय हिन्दी सेवा सम्मान भोपाल के अजीत वड़नेरकर को (एक लाख रूपये) दिया जाएगा।