वन विहार राष्ट्रीय उद्यान में वन्य-प्राणियों को गोद लेने की योजना एक जनवरी, 2009 को शुरू की गई थी। वन्य-प्राणियों को गोद लेने की यह योजना जन-जन में वन्य-प्राणियों के संरक्षण के प्रति सद्भावना के लिये प्रारंभ की गई है। कोई भी व्यक्ति अथवा संस्था वन विहार के बाघ, सिंह, तेंदुआ, भालू, हायना, जैकाल, मगरमच्छ, घड़ियाल एवं अजगर में से किसी भी वन्य-प्राणी को मासिक, त्रैमासिक, अर्द्ध-वार्षिक एवं वार्षिक आधार पर गोद ले सकता है।
वन्य-प्राणियों को गोद लेने के लिये निर्धारित राशि “एक्जिक्यूटिव डायरेक्टर मध्यप्रदेश टाइगर फाउण्डेशन सोसायटी वन विहार राष्ट्रीय उद्यान भोपाल’’ के नाम भोपाल में देय चेक अथवा बैंक ड्रॉफ्ट के माध्यम से जमा कर निर्धारित प्रारूप पर आवेदन करना होता है। गोद लेने के लिये भुगतान की गई राशि आयकर की धारा-80 जी (एस) के प्रावधानों के अंतर्गत छूट के दायरे में आती है। संबंधित को भुगतान की गई राशि का 10 प्रतिशत की राशि का नि:शुल्क प्रवेश पास की सुविधा प्रदान की जाती है। संबंधित के नाम की पट्टिका गोद लिये गये वन्य-प्राणी के बाड़े के समक्ष एवं दोनों प्रवेश द्वारों पर लगाई जाती है।
संचालक वन विहार राष्ट्रीय उद्यान भोपाल ने आमजन एवं स्थानीय संस्थाओं से अनुरोध किया है कि वन विहार में मौजूद वन्य-प्राणियों बाघ, सिंह, तेंदुआ, भालू, लकड़बग्घा, जैकाल, मगर, घड़ियाल एवं अजगर आदि को गोद लेकर इस योजना में अपनी भागीदारी सुनिश्चित करते हुए पर्यावरण के प्रति अपने दायित्व का निर्वहन कर सकते हैं। निजी संस्था यह कार्य अपने सीएसआर गतिविधियों के अंतर्गत कर सकते हैं। वन्य-प्राणी को गोद लेने के साथ-साथ वन विहार के अन्य विकास कार्य के लिये सीएसआर गतिविधियों के अंतर्गत निजी संस्था एवं अन्य सार्वजनिक उपक्रमों को भागीदारी के लिये आमंत्रित किया जा रहा है। विस्तृत जानकारी के लिये ईमेल [email protected] एवं मोबाइल नम्बर सहायक संचालक-9424790615 एवं प्रबंध शाखा प्रभारी-9424790613 पर सम्पर्क कर सकते हैं।
गोद लेने वाले वन्य-प्राणियों का विवरण एवं राशि निम्नानुसार है-