विद्युत चोरी के मामले में बिजली उपभोक्ता को 6 माह सश्रम कारावास सहित अर्थदण्ड की सजा

व्हीकल सर्विस सेंटर करोंद, भोपाल के मालिक पीयूष कुमार गौतम को अनधिकृत रूप से बिजली का उपयोग करने पर जिला न्यायालय ने एक लाख 73 हजार 831 रूपये का सिविल दायित्व अधिरोपित करते हुए 6 माह के सश्रम कारावास सहित अर्थ-दण्ड की सजा सुनाई है। 

आरोपी को मध्यप्रदेश विद्युत वितरण कम्पनी के अधीक्षण यंत्री संजय निहलानी के नेतृत्व में निरीक्षण दल ने 30 मई 2014 को मीटर बायपास कर करोंद चौराहा स्थित व्हीकल सर्विस सेंटर में बिजली चोरी करते हुए पकड़े जाने पर विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 135 (1) (ए) में प्रकरण दर्ज किया था। प्रकरण जिला न्यायालय विशेष न्यायाधीश विद्युत अधिनियम, भोपाल के समक्ष प्रस्तुत हुआ। प्रकरण में एके टेलर, अपर सत्र न्यायाधीश एवं विशेष न्यायाधीश विद्युत अधिनियम क्रमांक-2 भोपाल ने आरोपी को दोषी करार देते हुए सजा सुनाई है। सिविल दायित्व की राशि 2 माह में जमा न करने पर 6 प्रतिशत वार्षिक की दर से ब्याज भी दिए जाने के आदेश विशेष न्यायाधीश द्वारा दिए गए हैं।

इस निर्णय के परिप्रेक्ष्य में कंपनी के प्रबंध संचालक गणेश शंकर मिश्रा ने बिजली उपभोक्ताओं से आग्रह किया है कि वैध कनेक्शन लेकर ही बिजली का उपयोग करें। अनधिकृत या अवैध रूप से बिजली चोरी दण्डनीय अपराध है। इसमें जुर्माना और कारावास का भी प्रावधान है।