दुनिया में भारत का परचम लहराना है साथियों।
मन-मन में हिंदुस्तान को बसाना है साथियों।
माँ भारती के प्रति हर कर्तव्य को हमें है निभाना,
जन-जन के दिल में देशप्रेम बढ़ाना है साथियों।
शहीद वीरों की बहुमूल्य कुर्बानियां बेकार न जाए,
हमारे गणतंत्र का सम्मान हर दिल से कराना है साथियों।
आओ गणतंत्र दिवस की बेला पर करें हम यह प्रतिज्ञा,
चुनकर लाएँगे वही नेता जिससे देश को महकाना है साथियों।
गणतंत्र दिवस के दिन संविधान हमारा लागू हुआ,
माँ भारती का जो हुआ सम्मान उसमें और इजाफा लाना है साथियों।
तिरंगा हमारी आन-बान-शान व माँ धरती अभिमान है
सबसे प्यारा सबसे न्यारा हिंदुस्तान हमारा दुनिया को ये बताना है साथियों।
कहे वीणा जात-पात, भेदभाव की तोड़कर दीवारें दोस्तों,
हमें तो सिर्फ हम हिंदुस्तानी हैं का नारा लगाना है साथियों।
-सारिका विजयवर्गीय “वीणा”
(सौजन्य साहित्य किरण मंच)