स्वयं को बिजली कंपनी प्रबंधन से भी ऊपर समझने वाले बिजली अधिकारियों का अमानवीय व्यवहार और कृत्य बदस्तूर जारी है।
मध्य प्रदेश विद्युत मंडल तकनीकी कर्मचारी संघ ने बताया कि 24 जनवरी को जावद संभाग में कार्यालयीन राजस्व समीक्षा के लिए अधिकारियों द्वारा की गई बैठक के पश्चात अपने निवास स्थान के लिए लौटते संविदा लाइन परिचारक पंकज नागेश्वर की सड़क दुर्घटना में दर्दनाक मौत हो गई।
जिसके बाद से मृतक कर्मचारी का परिवार विभाग से दाह-संस्कार, अनुग्रह राशि सहित अन्य आर्थिक सहायता तथा हितलाभों के लिए दर-दर की ठोकरें खाकर सहायता की आस लगाए 700 किमी दूर अपने गृहनगर मायूस होकर लौट चुका है।
संघ पदाधिकारी प्रदीप कुमार द्विवेदी ने बताया कि शासकीय सेवा के दौरान मृतक कर्मचारियों के आश्रितों को अनुकंपा नियुक्ति एवं श्रम नियमों के तहत कंपन्सेशन निर्धारित होने के बावजूद बिजली कंपनी के नीमच वृत्त के जिम्मेदार अधिकारियों ने अमानवीयता की सारी हदें पार कर दिया, उनके इस क्रूरतापूर्ण दुर्व्यवहार से न सिर्फ मृतक का परिवार दर-ब-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हुआ, अपितु बिजली कंपनी का प्रत्येक संविदा कर्मचारी अपने परिवार को लेकर बेहद असुरक्षित एवं चिंताग्रस्त महसूस कर रहा है।
तकनीकी कर्मचारी संघ के प्रांतीय अध्यक्ष शंभूनाथ सिंह, उपाध्यक्ष प्रदीप कुमार द्विवेदी, असलम खान, मिलन चौकसे, मोहन सिंह सिसोदिया, धर्मेंद्र मालवीया, जाहिद हुसैन अंसारी, सूरज गुर्जर, सुरेन्द्र ठाकरे ने कंपनी प्रबंधन से बैठक के दौरान मांग की है कि पीड़ित परिवार को जल्द से जल्द अनुग्रह राशि, अनुकंपा नियुक्ति सहित समस्त आर्थिक मुआवजा, सहायता एवं हितलाभ प्रदान किया जावे।