मानवीय प्रकृति में जिस दोष की प्रधानता होती है, उसके प्रकोपजन्य व्याधियाँ होने की सम्भावना अधिक होती है। इनसे रक्षा के लिए आयुर्वेद के आचार्य महर्षि चरक कहते हैं-
विपरीत गुणस्तेषां स्वस्थवृत्तेर्विधिर्हितः
प्रकृति के विरुद्ध गुण का सेवन ही स्वास्थ्यवर्धक होता है। (चरक संहिता सूत्रस्थान 7.41) इसलिए अपनी प्रकृति का निश्चय कर उसके अनुसार आहार-विहार का सेवन करना चाहिए।
सभी आहार द्रव्यों का लाभ प्राप्त करने हेतु पदार्थ जिस दोष को बढ़ाता है, उसके शमनकारी पदार्थों का युक्तिपूर्वक संयोग कर सेवन करना हितकर है। जैसे- पालक वायुवर्धक है तो उसके साथ में वायुशामक सोआ डाला जाता है, अदरक, लहसुन, काली मिर्च, हींग आदि द्रव्यों के उपयोग से दालों व सब्जियों के तथा तेल, घी, नमक के द्वारा जौ, मकई आदि अनाजों के वायुवर्धक गुण का शमन किया जाता है।
आहार द्वारा वायु को संतुलित कैसे रखें?
प्रकुपित वायु बल, वर्ण और आयु का नाश कर देती है। मन में अस्थिरता, दीनता, भय, शोक उत्पन्न करती है। वात के प्रकोप से 80 प्रकार के रोग उत्पन्न होते हैं। प्रकुपित वायु का पित्त व कफ के साथ संयोग होने से उत्पन्न होने वाले रोग असंख्य हैं। वायु अतिशय बलवान व आशुकारी (शीघ्र काम करनेवाली) होने से उससे उत्पन्न होनेवाले रोग भी बलवान व शीघ्र घात करनेवाले होते हैं। अतः वायु को नियंत्रण में रखने के लिए आहार में वायुवर्धक व वायुशामक पदार्थों का युक्तियुक्त उपयोग करना चाहिए।
वायुशामक पदार्थ
अनाजों में- साठी के चावल, गेहूँ, बाजरा, तिल।
दालों में- कुलथी, उड़द।
सब्जियों में- बथुआ, पुनर्नवा (साटोडी), परवल, कोमल मूली, कोमल बैंगन (बिना बीज के), पका पेठा, सहजन की फली, भिंडी, सूरन, गाजर, शलगम, पुदीना, हरा धनिया, प्याज, लहसुन, अदरक।
फलों में- सूखे मेवे, अनार, आँवला, बेल, आम, नारंगी, बेर, अमरूद, केला, अंगूर, मोसम्बी, नारियल, सीताफल, पपीता, शहतूत, लीची, कटहल (पका), फालसा, खरबूजा, तरबूज।
मसालों में- सोंठ, अजवायन, सौंफ, हींग, काली मिर्च, पीपरामूल, जीरा, मेथीदाना, दालचीनी, जायफल, लौंग, छोटी इलायची।
अन्य वायुशामक पदार्थ
केसर, सेंधा नमक, काला नमक, देशी गाय का दूध एवं घी, सभी प्रकार के तेल [बरें (कुसुम्भ, कुसुम) का तेल छोड़कर ]
वायुवर्धक पदार्थ
अनाजों में- जौ, ज्वार, मकई।
दालों में- सेम, मटर, राजमा, चना, तुअर, मूँग (अल्प वायुकारक), मोठ, मसूर।
सब्जियों में- अरवी, ग्वारफली, सरसों, चौलाई, पालक, पकी मूली, पत्तागोभी, लौकी, ककड़ी, टिंडा।
फलों में- नाशपाती, जामुन, सिंघाड़ा, कच्चा आम, मूँगफली।