संध्या कुमारी
साहनेवाल, लुधियाना, पंजाब
साजन तुझसे दूर ना रह पाती हूँ
तेरी याद में सारी दुनिया भूल जाती हूँ
मेरे प्रियतम तुम कहते हो ना, मैं तेरी जान हूँ
मुझे तो लगता है मैं तेरा, गुरूर व अभिमान हूँ
मैं तेरी धड़कन हूँ, रानी तेरे दिल की,
मैं तेरी थाती हूँ और साथी सुख-दु:ख की
तू सागर है, मैं नदी की धारा हूँ
फिर भी मै तेरे जीने का सहारा हूँ
मेरे साजन तेरी बाहें लगे, माँ का आँचल,
तेरा प्यार, मचाये दिल में हलचल
प्रियवर जब भी निकलेगी, तेरे दिल से आवाज
तब अपनी सजनी का देखोगे, अनोखा अंदाज़
दौड़ कर आ जाउंगी मैं,तेरे पास,
इस दुनिया में तू है मेरा सबसे खास
तेरे बिना मेरा कोई नहीं है अपना,
तुझसे ही शुरू होता है मेरा हर सपना
जानम तेरी यादें मुझे तड़पाती है,
तब मेरी आँखें अश्रुधारा बहाती है
जान तुझसे दूर ना रह पाती हूँ
तेरी याद में सारी दुनिया भूल जाती हूँ