मध्य प्रदेश में अलग से बनेगा यातायात संचालनालय, गृहमंत्री ने मंगाया प्रस्ताव

मध्य प्रदेश में यातायात संचालनालय बनाया जाएगा। प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने पुलिस प्रशिक्षण एवं शोध संस्थान में सड़क सुरक्षा संबंधी कार्यों की समीक्षा के दौरान भोपाल में यातायात संचालनालय कमाण्ड सेंटर के निर्माण के लिये एक सप्ताह में रिवाइज्ड प्रपोजल तैयार कर मंत्रालय भेजने के निर्देश दिये।

इसके अलावा डॉ मिश्रा ने दतिया में तमिलनाडु की तर्ज पर आधुनिक पुलिस मोटर-ड्रायविंग ट्रेनिंग स्कूल बनाने के लिये 15 दिवस की समयावधि में प्रस्ताव तैयार कर शासन को भेजने के निर्देश भी दिये। बैठक में पुलिस महानिदेशक विवेक जौहरी और अपर मुख्य सचिव गृह डॉ राजेश राजौरा भी उपस्थित रहे।

बैठक में अतिरिक्त महानिदेशक, पीटीआरआई डीसी सागर ने बताया कि प्रदेश में सर्वाधिक ब्लेक-स्पॉट क्रमश: खरगौन में 29, सीहोर और मुरैना में 24-24 चिन्हांकित किये गये हैं। मंत्री डॉ. मिश्रा ने एक्सीडेंट झोन वाले चिन्हित ब्लेक-स्पॉटों पर सुप्रीम कोर्ट द्वारा रोड सेफ्टी के लिये जारी गाइडलाइन अनुसार रोड एजेंसियों को कार्य करने हेतु आवश्यक निर्देश प्रसारित करने को कहा है।

डीसी सागर ने उपलब्ध बजट राशि को नॉन लेप्सेबल फण्ड में परिवर्तित किये जाने की आवश्यकता जताते हुए कहा कि इससे सड़क एवं यातायात को सुगम बनाये रखने के लिये फण्ड लैप्स नहीं होगा। गृह मंत्री डॉ मिश्रा ने नॉन लेप्सेबल फण्ड के गजट नोटिफिकेशन के लिये आवश्यक कार्यवाही कर शासन को भेजने के निर्देश दिये।

गृह मंत्री डॉ मिश्रा ने सड़क दुर्घटनाओं में पीड़ितों को गोल्डन ऑवर में सहायता प्रदान करने वालों को प्रोत्साहित करने की पुरस्कार योजना की प्रशंसा की। उन्होंने बताया कि मदद करने वालों को संवैधानिक प्रावधानों के अनुसार पुलिस से आवश्यक मदद मिलेगी और उन्हें विभिन्न प्रकार की पूछताछ व गवाही से भी छूट मिलेगी। मददगारों को अनावश्यक रूप से बुलाया नहीं जायेगा।

बैठक में बताया गया कि मददगार नेक व्यक्तियों और सड़क व यातायात को सुरक्षित बनाने के लिये कार्य में संलग्न स्वयंसेवी अथवा शासकीय संस्थाओं को पृथक-पृथक श्रेणियों में क्रमश: 5 लाख, 3 लाख और 2 लाख रुपये की राशि के पुरस्कारों से सम्मानित किया जायेगा।